अमित शाह ने की राहुल की टिप्पणी की आलोचना
नई दिल्ली। नियंत्रण रेखा के पार लक्षित हमले के मुद्दे को लोगों के बीच ले जाने पर जोर देते हुए भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने शुक्रवार को 'दलाली' शब्द का प्रयोग करने वाले राहुल गांधी पर करारा प्रहार किया और आरोप लगाया कि अपने बयान से उन्होंने सभी सीमाएं लांघ दी हैं, जो सशस्त्र बलों की वीरता का अपमान है।
शाह ने कहा कि कांग्रेस लक्षित हमलों पर लोगों के उत्साह में शामिल होने की बजाए पाकिस्तान के दर्द को बयां करने में लगी है। भाजपा अध्यक्ष ने सभी दलों से आग्रह किया कि मुद्दे का राजनीतिकरण नहीं करें, साथ ही कहा कि भाजपा इस मुद्दे को लोगों तक ले जाएगी ताकि सशस्त्र बलों के मनोबल को मजबूत किया जा सके।
अमित शाह ने स्पष्ट किया कि लक्षित हमले आतंकवाद के खिलाफ मोदी सरकार की कतई बर्दाश्त नहीं करने की नीति और कठोर निर्णय लेने की उसकी मजबूत राजनीतिक इच्छाशक्ति को रेखांकित करते हैं। उत्तरप्रदेश समेत कई राज्यों में विधानसभा चुनाव के मद्देनजर यह मुद्दा पार्टी के लिए फायदेमंद हो सकता है।
भाजपा अध्यक्ष ने बातचीत में राजनीतिक दलों से लक्षित हमले के मुद्दे का राजनीतिकरण नहीं करने की अपील करते हुए दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर भी प्रहार किया और कहा कि वे उन भारत विरोधी नेताओं में शामिल हैं जिन्होंने सेना की कार्रवाई पर सबसे पहले सवाल खड़े किए। पाकिस्तान में हैशटैग पाकस्टैंडविदकेजरीवाल ट्रेंड कर रहा है। यह अपने आप में स्पष्ट करता है कि उनके बयानों से किसको फायदा हो रहा है?
कांग्रेस नेता द्वारा सैनिकों के लिए 'दलाली' शब्द का प्रयोग करने को काफी दुर्भाग्यपूर्ण करार देते हुए भाजपा अध्यक्ष ने आरोप लगाया कि यह कांग्रेस की मानसिकता को दर्शाता है, क्योंकि यह शब्द विपक्षी दल का पर्यायवाची है जिनके नेता हजारों करोड़ रुपए के कई घोटालों में संलिप्त रहे।
उन्होंने कहा कि 'अपने खून की दलाली' वाले बयान के साथ राहुल गांधी ने सभी सीमाओं को लांघ दिया है। मेरा मानना है कि उन्होंने जिन शब्दों का प्रयोग किया वह सशस्त्र बलों की वीरता का अपमान है। मैं सहमत हूं कि 'दलाली' शब्द उनकी मानसिकता का हिस्सा है, क्योंकि उनके शासनकाल के दौरान कई घोटाले हुए।
शाह ने कहा कि गांधी की टिप्पणी कांग्रेस की मानसिकता दर्शाती है। कांग्रेस नेतृत्व की सोच में ही गड़बड़ी है। मैं उनके बयानों की कड़ी आलोचना करता हूं। 'दलाली' शब्द केवल कांग्रेस तक ही सीमित है। शाह ने कहा कि राहुल के बयान से लोग गुस्से में हैं और सेना का मनोबल गिरा है।
कांग्रेस उपाध्यक्ष पर तंज कसते हुए शाह ने कहा कि उन्हें किसानों के लिए आलू की फैक्टरी पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए, क्योंकि कृषि क्षेत्र के बारे में उनकी समझ वहीं तक सीमित है। दिल्ली से उत्तरप्रदेश के देवरिया तक मार्च के दौरान राहुल के बयानों का शाह जिक्र कर रहे थे।
भाजपा के कुछ नेताओं द्वारा लक्षित हमले के मामले को काफी बढ़ा-चढ़ाकर पेश करने के बारे में उन्होंने कहा कि कुछ कार्यकर्ता केवल अपना उत्साह दिखा रहे हैं और पूछा कि कांग्रेस नेतृत्व में ऐसा उत्साह क्यों नहीं है? अमित शाह ने कहा कि हमने लक्षित हमले के दावे नहीं किए हैं। सेना ने यह किया। सेना को इसका श्रेय लेना चाहिए, न कि नेताओं को। (भाषा)