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Written By Author संदीप श्रीवास्तव

क्या भगवा दुर्ग में फिर लहराएगा भगवा?

क्या भगवा दुर्ग में फिर लहराएगा भगवा? - Ayodhya, BJP, Uttar Pradesh assembly election 2017
रामनगरी। अयोध्या! यहां होने वाले हर गतिविधि पर पूरी दुनिया की नजर रहती है। यहां जनसंघ और भाजपा ने सबसे ज्यादा बार जीत दर्ज की है। राम लहर के बाद पांच बार से भाजपा यहां जीत रही थी। अयोध्या को भगवा दुर्ग की संज्ञा दी जाती रही है। 2012 के चुनाव में सपा ने भाजपा से यह सीट छीनी थी। इस बार भाजपा से वेद प्रकाश गुप्ता, सपा से तेजनारायन पांडेय, बसपा से बज्मी सिद्दीकी, अधिकार पार्टी से सुशील जायसवाल, भारतीय कम्युनिष्ट पार्टी से सूर्यकांत पांडेय चुनाव मैदान में हैं।
अयोध्या विधानसभा में 1967 में अस्तित्व में आई। तत्समय भारतीय जनसंघ से बृजकिशोर अग्रवाल ने जीत दर्ज की थी। उन्हें यहां 21279 वोट प्राप्त हुए थे जबकि दूसरे पायदान पर रहे कांग्रेस केबी सिंह को 16974 वोट मिले थे। 1959 में हुए चुनाव में विश्वनाथ कपूर ने कांग्रेस के बैनर तले जीत हासिल की थी। दूसरे पायदान पर रहे बीकेडी के रामनयन त्रिपाठी को 15652 मतों प्राप्त हुए। 1974 में यह सीट फिर से वेदप्रकाश अग्रवाल ने जनसंघ खाते में डाल दी। वेदप्रकाश अग्रवाल को इस सीट पर 18491 वोट मिले थे जबकि दूसरे नंबर पर रहे बीकेडी से श्रीराम द्विवेदी को 18208 वोट मिले थे।

1977 में जनता पार्टी की लहर में यह सीट जनता पार्टी से जयशंकर पांडे ने अपने नाम कर ली। यहां उन्हें 24247 वोट मिले थे जबकि दूसरे पायदान पर रहे कांग्रेस के निर्मल खत्री को 23831 मतों की प्राप्त हुई थी। 1980 में कांग्रेस के निर्मल खत्री ने 35095 वोट हासिल करके बीजेपी के श्रीभगवान जायसवाल को हराया था श्रीभगवान जायसवाल को इस सीट पर 11309 मतों की प्राप्त हुई थी। 1985 में कांग्रेस के सुरेंद्रप्रताप सिंह ने इस सीट पर जीत दर्ज की। 
 
सुरेंद्र प्रताप सिंह को 21475 वोट जबकि दूसरे पायदान पर रहे जनता पार्टी के जयशंकर पांडे को 14092 वोटों की प्राप्त हुई थी। 1989 में या सीट जनता दल से जयशंकर पांडे ने जीत दर्ज की थी। उन्हें यहां 31899 वोट मिले थे जबकि दूसरे पायदान पर रहे भाजपा के लल्लूसिंह को 22826 मतों की प्राप्त हुई थी। 1991 में राम लहर के दौरान भाजपा के प्रत्याशी के रूप में लल्लू सिंह ने यहां बड़ी जीत दर्ज की। भाजपा के लल्लू सिंह को 49206 वोट और दूसरे पायदान पर रहे जनता पार्टी के जयशंकर पांडे को 18806 वोट मिले थे। 1993 में लल्लूसिंह ने फिर इस सीट पर जीत दर्ज की।
 
उन्हें 58587 वोट और दूसरे नंबर पर रहे जयशंकर पांडे को 49349 वोटों के प्राप्त हुई थी। 1996 में फिर इसी पर लल्लूसिंह ने भाजपा से जीत दर्ज की। यहां उन्हें उन 59658 मतों की प्राप्ति हुई थी जबकि दूसरे नंबर पर जयशंकर पांडे को 38463 वोट मिले थे। 2002 में भाजपा से लल्लूसिंह ने यहां 51289 वोट पाकर जीत दर्ज की। यहां दूसरे नंबर पर रहे बीएसपी के प्रत्याशी अभय सिंह को 33429 वोट मिले थे। 2007 में बीजेपी से लल्लू सिंह ने 58493 वोट पाकर जीत दर्ज की जबकि दूसरे नंबर पर रहे सपा के इंद्रप्रताप तिवारी खब्बू को 52752 वोट मिले थे। 2012 में समाजवादी पार्टी ने भगवा दुर्ग पर कब्जा कर लिया। समाजवादी पार्टी से तेजनारायन पांडेय को 55262 वोट और भाजपा के लल्लूसिंह को 49857 मतों की प्राप्ति हुई थी।
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