-शोभना जैन
गांधीनगर। अंतरराष्ट्रीय जगत में भारत की बढ़ती नई पहचान के बीच बुधवार से यहां शुरू होने वाला तेरहवां प्रवासी भारतीय दिवस समारोह इस बार कुछ अलग हटकर होगा। 'सर्वश्रेष्ठ प्रवासी महात्मा गांधी' के दक्षिण अफ्रीका से स्वदेश वापसी के सौ वर्ष पूरे होने को समर्पित यह समारोह 'भारत को जानो, भारत को मानो' पर केन्द्रित होगा, जिसमें भारत की प्राचीन समृद्ध सांस्कृतिक विरासत की गौरव गाथा के साथ आधुनिक भारत की उपलब्धियों को भी दर्शाया जाएगा।
इसके साथ ही इसमें मोदी सरकार के महत्वाकांक्षी कार्यक्रम 'मेक इन इंडिया' के अलावा 'स्वच्छ भारत, नमामि गंगे, स्किल डेवलपमेंट, स्मार्ट सिटी' जैसी सरकार की फ्लैगशिप परियोजनाओं में अप्रवासी भारतीयों की भागीदारी का न्योता देने के अलावा भारतवंशियों को उनके पुरखों की भूमि से गहरे से जोड़ने की कड़ी का हिस्सा होगा।
समारोह में कैरीबियाई देशों के 'गिरमटिया' भारतवंशियों, खाड़ी देशों में रहने वाले अनिवासी भारतीयों, फ्रांसीसी भाषाभाषी क्षेत्र के प्रवासियों और अनिवासी भारतीयों संबंधी विभिन्न मुद्दों पर अलग से विशेष सत्र आयोजित किए जाएंगे। उल्लेखनीय है कि दुनियाभर में प्रवासी भारतीयों की संख्या 2.5 करोड़ के आसपास है जिसमें से बड़ी तादाद में अपने दत्तक देशों में विभिन्न क्षेत्रों में अपनी विशिष्ट पहचान बना चुके हैं। इनमें से अनेक वहां के राष्ट्राध्यक्ष भी हैं।
समारोह का आयोजन कल से 9 जनवरी तक यहां गांधी नगर में होगा। इस बार समारोह में करीब 3000 प्रवासियों के आने की उम्मीद है। इस बार समारोह के मुख्य अतिथि गुयाना के राष्ट्रपति डोनाल्ड रामअवतार होंगे। समारोह में दक्षिण अफ्रीका की विदेश मंत्री मैती नकोआना-माशाबाने भी शामिल हो रही हैं।
कुछ दिन पूर्व विदेश तथा प्रवासी भारतीय मामलों की मंत्री सुषमा स्वराज ने समारोह के बारे में यह जानकारी देते हुए कहा था कि सर्वश्रेष्ठ प्रवासी महात्मा गांधी के दक्षिण अफ्रीका से स्वदेश वापसी के सौ वर्ष पूरे होने को समर्पित इस समारोह में भारत की प्राचीन समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के साथ आधुनिक भारत की उपलब्धियों के साथ मोदी सरकार की फ्लैगशिप योजनाएं 'मेक इन इंडिया, स्वच्छ भारत, स्किल इंडिया, नमामि गंगे' आदि परियोजनाओं के बारे में विशेष जानकारी के सत्र होंगे ताकि इनमें निवेश के अवसरों की संभावनाओं पर गौर किया जा सके।
उन्होंने कहा कि 'अपना भारत-अपना गौरव' के ध्येय वाक्य वाला यह समारोह भारत को जानो, भारत को मानो पर केन्द्रित होगा। उन्होंने कहा कि इस बार सम्मेलन में युवाओं के लिए एक विशेष सत्र होगा। इसके अलावा चार और विशेष सत्र होंगे। समारोह की शुरुआत सात जनवरी को युवा सत्र से होगी, जिसमें प्रवासियों के बच्चे हिस्सा लेंगे और उनके साथ भारत की महान विरासत और आधुनिक आगे बढ़ते भारत पर चर्चा की जाएगी। उन्होंने कहा कि इसके अलावा चार और विशेष सत्र होंगे। उन्होंने बताया कि इस बार समारोह कुछ अलग हटकर होगा।
उन्होंने बताया कि इस बार इस समारोह में गुजरात सहयोगी राज्य होगा, जबकि केन्द्रीय युवा तथा खेल मंत्रालय सहयोगी केन्द्रीय मंत्रालय होगा। दस से अधिक राज्य भी इसमें हिस्सा लेंगे जिसमें भाजपा शासित राज्यों के अलावा जिनमें उत्तरप्रदेश, केरल और नगालैंड जैसे गैर भाजपा शासित राज्य भी शामिल हैं। भाजपा शासित राज्यों में होंगे गुजरात, गोवा, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, हरियाणा और महाराष्ट्र।
स्वराज ने बताया कि उन्होंने देश के सभी मुख्यमंत्रियों को इसमें शामिल होने के लिए आमंत्रित किया है और अब तक 10 मुख्यमंत्रियों ने आने की मंजूरी दी है। समारोह में अनेक केन्द्रीय मंत्री हिस्सा लेंगे तथा सरकार की फ्लैगशिप योजनाओं के बारे में जानकारी देंगे।
उन्होंने कहा कि चार साल पहले जब मोदी गुजरात के मुख्यमंत्री थे तो उन्होंने तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहनसिंह को एक पत्र भेजकर 2015 का समारोह गांधीजी की स्वदेश वापसी की जन्म शती पर समारोह गुजरात में कराने का आग्रह किया था, इसीलिए यह समारोह इस बार गुजरात में मनाया जा रहा है।
स्वराज ने बताया कि उनका मंत्रालय ओवरसीज सिटीजनशिप ऑफ इंडिया (ओसीआई) कार्ड को पर्सन ऑफ इंडियन ऑरिजिन (पीआईओ) कार्ड के साथ मिलाने और इन कार्डधारकों को आजीवन वीसा सुविधा देने पर काम कर रहा है। प्रवासियों को मताधिकार के सवाल पर उन्होंने कहा कि इसके तरीके को लेकर अभी विचार किया जा रहा है। जल्द ही इस बारे में फैसला कर लिया जाएगा। 8 जनवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मुख्य सत्र को संबोधित करेंगे। 9 जनवरी को उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी 15 प्रख्यात प्रवासियों को प्रवासी भारतीय सम्मान प्रदान करेंगे। (वीएनआई)
सभी फोटो : मितेश मोदी