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Last Updated : बुधवार, 23 अक्टूबर 2024 (12:10 IST)

सुप्रीम कोर्ट का बायजू को बड़ा झटका, जानिए कैसे दिवालिएपन की कगार पर पहुंच गई दिग्गज एड टेक कंपनी?

सुप्रीम कोर्ट का बायजू को बड़ा झटका, जानिए कैसे दिवालिएपन की कगार पर पहुंच गई दिग्गज एड टेक कंपनी? - big jolt to byju from supreme court, NCLT decision changed
BYJU's news in hindi : सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को राष्ट्रीय कंपनी विधि अपील अधिकरण (NCLT) के उस आदेश को खारिज कर दिया, जिसमें एड-टेक कंपनी बायजू (BYJU'S) के खिलाफ दिवालियेपन की कार्यवाही पर रोक लगा दी गई थी।
 
शीर्ष अदालत ने एनसीएलएटी के उस आदेश को भी पलट दिया, जिसमें बायजू को भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड के साथ 158.9 करोड़ रुपए के बकाये के निपटान को मंजूरी दी गई थी। अदालत ने बीसीसीआई को लेनदारों की समिति के पास 158.9 करोड़ रुपए की निपटान राशि जमा करने का निर्देश दिया।

उल्लेखनीय है कि भारतीय क्रिकेट टीम की जर्सी पर भी लंबे तक समय बायजू का नाम दिखाई दिया। बायजू ने 2019 में ‘ओप्पो’ की जगह ली। जून 2022 में बायजूस ने करीब 3.50 करोड़ डॉलर में BCCI के साथ नवंबर 2023 तक अपना जर्सी प्रायोजन करार बढ़ा दिया। हालांकि यह करार मार्च 2023 तक खत्म हो गया।
 
बायजू की कहानी : बायजू रवींद्रन और उनकी पत्नी दिव्या गोकुलनाथ ने 2011 में इस थिंक एंड लर्न कंपनी की स्थापना की थी। दुनिया की सबसे मूल्यवान एजुटेक कंपनी का मुख्‍यालय बैंगलुरू में है। 2016 में कंपनी ने अपना लर्निंग ऐप लांच किया। इसके बाद कंपनी ने तेजी से तरक्की की। 2017 में अभिनेता शाहरुख खान के ब्रांड एंबेसडर के रूप में जुड़ने के बाद 2018 में कंपनी यूनिकॉर्न बन गई। कोरोना काल में कंपनी ने जमकर कमाई की। जून 2021 तक, बायजू की कीमत 1000 करोड़ रुपए आंकी गई। हालांकि कोरोना के बाद बायजू की मुसीबतें बढ़ने लगी। एक एक कर डॉयरेक्टरों और निवेशकों ने कंपनी से दूरी बनानी शुरू कर दी और वह दिवालियां होने की कगार पर पहुंच गई। 
 
क्या था बायजू का बिजनेस : कंपनी KG से 12वीं कक्षा तक के छा‍त्रों को पढ़ाई के लिए ऑनलाइन और ऑफलाइन क्लासेस उपलब्ध कराती है। साथ ही प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए ऑनलाइन वीडियो-आधारित शिक्षण कार्यक्रम भी संचालित किए जाते हैं। पढ़ाई के लिए छात्रों को स्पेशल टैब उपलब्ध कराए गए हैं। दावा किया जाता है कि कंपनी के ट्रेन्ड टीचर्स एक ही सवाल को 10 तरीके से हल करवा सकते हैं। अगर एक तरीका समझ में नहीं आता तो दूसरा टीचर दूसरे तरीके से सवाल हल करना सिखाता है।
 
बाल संरक्षण आयोग ने भेजा नोटिस : राष्ट्रीय बाल संरक्षण आयोग (NCPCR) ने 2022 में BYJU कंपनी के CEO बायजू रवीन्द्रन को पूछताछ के लिए समन जारी किया। NCPCR के अध्यक्ष प्रियांक कानूनगो ने कहा कि एडटेक कंपनी पर छात्रों और अभिभावकों को परेशान करने का आरोप लगा है। NCPCR अध्यक्ष ने कहा कि हमें जहां जैसी गलती मिलेगी, हम वैसी कार्रवाई करेंगे।
 
कानूनगो ने कहा कि हमें 2021 की दिसंबर में शिकायत मिली थी कि कम आय वाले बच्चों के माता-पिता के पास बायजू के सेल्स एग्जीक्यूटिव जाते हैं और EMI बोलकर फाइनेंस कंपनी से माता-पिता के क्षमता से अधिक के लोन दिलवाते हैं। शिक्षा मंत्रालय ने भी एडटेक कंपनी के लिए एक विस्तृत सलाह जारी की थी और बायजूस को भी नोटिस जारी किया था।

भारी पड़ी तीन गलतियां : बायजू को 3 गलतियों की भारी कीमत चुकानी पड़ी। कंपनी ने बड़े ही आक्रामक तरीके से कंपनियों का अधिग्रहण किया। इससे कंपनी पर भारी कर्जा हो गया। कोविड के बाद ऑनलाइन एजुकेशन की मांग में कमी आई। इससे कंपनी की कमर टूट गई। बायजू ने अपनी मार्केटिंग पर भी भारी रकम खर्च की। उसने कई स्टार्स को अपना ब्रांड एबेसडर बनाया।
Edited by : Nrapendra Gupta 
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