महामृत्युंजय मंत्र जपने से अकाल मृत्यु तो टलती है, आरोग्यता की भी प्राप्ति होती है। स्नान करते समय शरीर पर लोटे से पानी डालते वक्त इस मंत्र का जप करने से स्वास्थ्य-लाभ होता है। दूध में निहारते हुए इस मंत्र का जप किया जाए और फिर वह दूध पी लिया जाए तो यौवन की सुरक्षा में भी सहायता मिलती है, साथ ही इस मंत्र का जप करने से बहुत-सी बाधाएं दूर होती हैं अत: इस मंत्र का यथासंभव जप करना चाहिए। निम्नलिखित स्थितियों में इस मंत्र का जाप कराया जाता है-
* ज्योतिष के अनुसार यदि जन्म मास, गोचर और दशा, अंतर्दशा, स्थूलदशा आदि में ग्रह पीड़ा होने का योग है।