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Written By Author विकास सिंह
Last Updated : रविवार, 10 जनवरी 2021 (18:50 IST)

मध्यप्रदेश में लव जिहाद को रोकने वाला कानून लागू, पढ़ें कानून की 10 बड़ी बातें

मध्यप्रदेश में लव जिहाद को रोकने वाला कानून लागू, पढ़ें कानून की 10 बड़ी बातें - love jihad law implemented in madhya pradesh,Shivraj government issued notification
भोपाल। मध्यप्रदेश में धर्मांतरण और लव जिहाद को रोकने के लिए शिवराज सरकार का लाया गया कानून अध्यादेश के रुप में लागू हो गया है। राज्यपाल आनंदीबेन पटेल की मंजूरी के बाद प्रदेश सरकार ने धर्मिक स्वतंत्रता अध्यादेश-2020 को लागू करने का गजट नोटिफिकेशन कर दिया है। गृह विभाग की ओर से सभी कलेक्टरों और एसपी को निर्देश जारी करके अब कानून के तरह कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए है।
लव जिहाद से लिए होने वाली शादियों पर रोक लगाने शिवराज सरकार के इस कानून में कुछ ऐसे प्रावधान किए गए है जो देश के किसी भी राज्य में अब तक नहीं है। लव जिहाद को लेकर अध्यादेश को‌ मंजूरी देने के बाद अब मध्यप्रदेश ‌उत्तरप्रदेश ‌के बाद दूसरा राज्य बन गया है जिसने इस तरह का ‌कठोर कानून बनाया है। 
 
मप्र धार्मिक स्वतंत्रता कानून-2020 के मुख्य बिंदु 
 
1-मप्र धार्मिक स्वतंत्रता कानून-2020 में बहला-फुसलाकर, डरा-धमकाकर धर्मांतरण के लिए विवाह करने पर 10 साल की सजा और एक लाख तक के जुर्माने का प्रावधान है। 
2- इस तरह की शादी कराने वाले धर्म गुरु,काजी-मौलवी को भी पांच साल तक सजा मिलेगी। 
3-लव जिहाद (धर्म छिपाकर) से की गई शादी शून्य घोषित होगी। शादी करने के लिए जिले के‌ कलेक्टर के सामने दो महीने पहले आवेदन देना होगा।
4-लव जिहाद से की गई शादी रद्द होने के बाद महिला और उसके बच्च  भरण पोषण के हकदार होंगे। ऐसे विवाह से जन्मे बच्चे माता-पिता की संपत्ति में उत्तराधिकार होंगे।
5-कोई भी व्यक्ति दूसरे को दिगभ्रमित कर,प्रलोभन,धमकी,बल,दुष्प्रभाव,विवाह के नाम पर धर्म परिवर्तन या धर्म परिवर्तन का प्रयास  नहीं कर सकेगा। कोई भी व्यक्ति धर्म परिवर्तन किए जाने का षड़यंत्र भी नहीं कर सकेगा।
6-अपना धर्म छुपाकर यानि लव जिहाद करके शादी करने पर तीन साल से दस साल तक की कैद और 50 हजार रूपए अर्थदण्ड और सामूहिक धर्म परिवर्तन (02 या अधिक व्यक्ति का) का प्रयास करने पर 5 से 10 वर्ष के कारावास एवं एक लाख रूपए का जुर्माना किया जाएगा।
7-कानून का उल्लंघन करने वाले व्यक्ति को एक साल से पांच साल तक के करावास और 25  हजार रूपए का जुर्माना लगेगा  नाबालिग,महिला,अ.जा,अ.ज.जा के केस में दो से दस साल तक की करावास और कम से कम 50 हजार रूपए का अर्थदंड लगाने का प्रावधान है।
8-धर्म स्वातंत्र्य अधिनियम का उल्लंघन करने वाली संस्था या संगठन को भी अपराधी के सामान सजा मिलेगी।
9-जबरन‌ धर्म परिवर्तन और लव जिहाद के अपराध को संज्ञेय और गैर जमानती बनाया गया है।
10-धर्मांतरण नहीं किया गया है इसको आरोपी को साबित करना होगा। ऐसे अपराध की जांच उप पुलिस निरीक्षक‌ (एसआई) से कम श्रेणी का पुलिस अधिकारी इसकी जांच नहीं कर सकेगा।