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Written By भाषा
Last Modified: नई दिल्ली , रविवार, 10 जनवरी 2010 (17:56 IST)

टेस्ट से होती है खिलाड़ी की परीक्षा-राहुल दविड़

(11 जनवरी को जन्मदिन पर विशेष)

राहुल द्रविड़
FILE
भारतीय टीम की ‘दीवार’ के नाम से मशहूर राहुल शरद द्रविड़ टेस्ट मैचों को क्रिकेट के सभी रूपों में सर्वश्रेष्ठ आँकते हैं क्योंकि इससे खिलाड़ी की शारीरिक, मानसिक और तकनीकी क्षमता की परीक्षा होती है।

इंदौर में 11 जनवरी 1973 को जन्मे द्रविड़ अपना 37वाँ जन्मदिन मनाएँगे। उन्होंने हाल में टेस्ट के भविष्य के बारे में पूछे जाने पर कहा था कि मैं टेस्ट क्रिकेट के भविष्य के बारे में काफी सकारात्मक हूँ। मैं काफी युवा खिलाड़ियों को जानता हूँ, जो टेस्ट क्रिकेट खेलना चाहते हैं। टेस्ट क्रिकेट पिछले 130 सालों से चला आ रहा है और वनडे, दिन रात्रि और अब ट्वेंटी-20 की चुनौतियों के बावजूद बरकरार है।

उन्होंने कहा यह अब भी उतना ही रोमांचक है, जितना पहले हुआ करता था। यह क्रिकेट का ऐसा प्रारूप है जिसमें खिलाड़ी की शारीरिक, मानसिक और तकनीकी क्षमता की परीक्षा होती है। बीसीसीआई ने कैलेंडर वर्ष में और अधिक टेस्ट मैच शामिल करने के लिए कदम उठाए हैं।

इस अनुभवी बल्लेबाज ने 137 टेस्ट मैचों में 53.60 के औसत से 11256 और 339 वनडे में 39.43 के औसत से 10765 रन बनाये हैं। वह टेस्ट क्रिकेट में 11,000 रन का आँकड़ा पार करने वाले मास्टर बल्लेबाज सचिन तेंडुलकर के बाद दूसरे भारतीय और विश्व के पाँचवें अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी हैं। द्रविड़ एकमात्र ऐसे अंतरराष्ट्रीय बल्लेबाज हैं, जिन्होंने सभी 10 टेस्ट खेलने वाले देशों के खिलाफ शतक जड़ा है।

द्रविड़ ने इंग्लैंड के खिलाफ दूसरे टेस्ट में संजय मांजरेकर की जगह सौरव गांगुली के साथ टेस्ट आगाज किया क्योंकि मांजरेकर दौरे के पहले मैच में चोटिल हो गए थे। इसमें उन्होंने 95 रन बनाए थे, लेकिन द्रविड़ के करियर का स्वर्णिम दौर गांगुली की कप्तानी में 2001 में कोलकाता में शुरू हुआ था।

टेस्ट मैचों में लगातार 16 जीत के ऑस्ट्रेलिया के रिकॉर्ड को ईडन गार्डन में समाप्त करने के दौरान वीवीएस लक्ष्मण की 281 रन की पारी सभी को अच्छी तरह याद है, लेकिन द्रविड़ ने भी इस मैच में महत्वपूर्ण योगदान दिया था और 180 रन बनाकर लक्ष्मण के साथ पाँचवें विकेट के लिए 376 रन जोड़े थे। इसके बाद उनके करियर का स्वर्णिम दौर शुरू हुआ।

द्रविड़ भारत की ओर से तीसरे नंबर पर खेलने वाले सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाज हैं और इस स्थान पर उनका औसत 60 के करीब है, जो डॉन ब्रैडमैन को छोड़कर खेल के इतिहास में बल्लेबाजी क्रम में नियमित नंबर तीन बल्लेबाजी करने वाले खिलाड़ियों से कहीं अधिक है।

द्रविड़ ने 2006 में लाहौर में पाकिस्तान के खिलाफ वीरेंद्र सहवाग के साथ 410 रन की साझेदारी की थी, जो भारत के लिए किसी भी विकेट केलिए सर्वश्रेष्ठ भागीदारी थी। लेकिन इसमें द्रविड़ कप्तान और सहवाग उप कप्तान के रूप में खेल रहे थे, जिससे यह कप्तान और उप कप्तान के बीच सर्वाधिक रन की भागीदारी भी है।

द्रविड़ ने 1996 के बाद सिंगापुर में श्रीलंकाई टीम के खिलाफ सिंगर कप में विनोद कांबली की जगह अपने वनडे करियर की शुरुआत की थी, लेकिन उन्हें टीम से हटा दिया गया। फिर उन्हें इंग्लैंड दौरे केलिए चुना गया और अब यह बल्लेबाज भारतीय टेस्ट खिलाड़ियों में अपना विशेष स्थान रखता है।

विकेटकीपिंग में भी अपनी धाक जमा चुके इस लंबी पारी खेलने वाले खिलाड़ी के नाम 188 कैच हैं, जो टेस्ट क्रिकेट में विश्व रिकॉर्ड है। इसके अलावा वह 19 विभिन्न जोड़ीदारों के साथ 80 से ज्यादा शतकीय साझेदारियाँ निभा चुके हैं और यह भी एक विश्व रिकॉर्ड है।

पूर्व भारतीय कप्तान द्रविड़ ने इस रणजी ट्राफी सत्र में कर्नाटक की तरफ से चार मैचों में 476 रन बनाकर अपनी टीम को फाइनल में पहुँचाया, लेकिन 17 जनवरी से बांग्लादेश के खिलाफ टेस्ट श्रृंखला के कारण वह मुंबई के खिलाफ अहम खिताबी मुकाबले में इस टीम के साथ नहीं होंगे।

उन्होंने इस बारे में निराशा भी व्यक्त की और कहा कि मैं फाइनल में खेलना चाहता था, लेकिन दुर्भाग्यवश मुझे टेस्ट श्रृंखला के लिए बांग्लादेश जाना होगा। (भाषा)