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Last Modified: बुधवार, 27 जनवरी 2021 (18:21 IST)

कांग्रेस की बड़ी मांग- अमित शाह को बर्खास्त करें PM मोदी, ट्रैक्टर रैली में हिंसा कराने का आरोप

कांग्रेस की बड़ी मांग- अमित शाह को बर्खास्त करें PM मोदी, ट्रैक्टर रैली में हिंसा कराने का आरोप - congress demand amit shah should be dismissed from the post of home minister amit shah accused of violence in tractor rally
नई दिल्ली। कांग्रेस ने किसानों की ट्रैक्टर परेड के दौरान हुई हिंसा को लेकर बुधवार को आरोप लगाया कि यह एक ‘सुनियोजित साजिश’ थी और इसके लिए गृहमंत्री अमित शाह जिम्मेदार हैं। पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को गृहमंत्री को तत्काल बर्खास्त करना चाहिए। कांग्रेस के इस आरोप पर फिलहाल भाजपा या सरकार की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है।
सुरजेवाला ने कहा कि देश की राजधानी में किसान आंदोलन की आड़ में हुई सुनियोजित हिंसा व अराजकता के लिए सीधे-सीधे गृहमंत्री अमित शाह जिम्मेदार हैं। इस संबंध में तमाम खुफिया इनपुट के बावजूद हिंसा के तांडव को रोक पाने में नाकामी के चलते उन्हें एक पल भी अपने पद पर बने रहने का हक नहीं है।’
 
उन्होंने दावा किया कि सालभर के भीतर दिल्ली में दूसरी बार हुई इस हिंसा को रोक पाने में बुरी तरह विफल रहने वाले अमित शाह को उनके पद से फौरन बर्खास्त किया जाना चाहिए। यदि प्रधानमंत्री अब भी उन्हें बर्खास्त नहीं करते तो इसका मतलब साफ है कि उनकी अमित शाह से प्रत्यक्ष मिलीभगत है।
 
सुरजेवाला ने कहा कि आज़ादी के 73 सालों में यह पहला मौका है जब कोई सरकार लालकिले जैसी राष्ट्रीय धरोहर की सुरक्षा करने में बुरी तरह नाकाम रही। किसानों के नाम पर साज़िश के तहत चंद उपद्रवियों को लालकिले में घुसने दिया गया और दिल्ली पुलिस कुर्सियों पर बैठी आराम फरमाती रही।
 
उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा के करीबी दीप सिद्धू की पूरे समय लाल किले में मौजूदगी किसान आंदोलन को बदनाम करने की सुनियोजित साजिश है। 
 
कांग्रेस नेता ने यह आरोप भी लगाया कि अमित शाह के इशारे पर दिल्ली पुलिस ने उपद्रवियों की अगुआई कर रहे दीप सिद्धू व उनके गैंग की बजाय संयुक्त किसान मोर्चे के नेताओं के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करके उपद्रवियों के साथ भाजपा सरकार की मिलीभगत व साजिश को खुद ही बेनकाब कर दिया है। 
 
सुरजेवाला ने दावा किया कि मोदी सरकार जब उन्हें ‘बलपूर्वक’ नहीं हटा पाई तो छलपूर्वक हटाने का षड्‍यंत्र करने लगी। पहले ‘प्रताड़ित करो और परास्त करो’ की नीति, फिर मीटिंग पर मीटिंग कर ‘थका दो और भगा दो’ की नीति, फिर किसानों में ‘फूट डालो और आंदोलन तोड़ो’ की नीति और अब अंतिम छल है, अराजकता का आरोप लगा ‘बदनाम करो और बाहर करो’ की नीति। 
 
उन्होंने सवाल किया कि सवाल यह है कि जो किसान 63 दिन से शांतिपूर्ण आंदोलन कर रहे थे, अचानक से ऐसा क्या हुआ, जो वो इतना बिफर गए? केवल 30 से 40 ट्रैक्टर लेकर उपद्रवी लाल किले में कैसे घुस पाए? यह किसकी असफलता है? इसका जिम्मेदार कौन है?
 
कांग्रेस नेता ने यह भी पूछा कि 500-700 हिंसक तत्व जबरदस्ती लालकिले में कैसे घुस सकते हैं? जो दीप सिद्धू प्रधानमंत्री मोदी और गृहमंत्री अमित शाह के साथ फोटो खिंचवा शेयर करता है उसे और उसके समर्थकों को लालकिले तक जाने की अनुमति किसने दी? 
 
कांग्रेस महासचिव ने सवाल किया कि किसानों को हिंसा ही करनी होती तो वो 63 दिन से हाड़ कंपकपाती सर्दी में दिल्ली की सीमाओं पर लाखों की संख्या में क्यों बैठते? गुप्तचर एजेंसियों से लेकर गृह मंत्रालय तक क्या कर रहा था? 
 
उन्होंने पूछा कि क्या हिंसा का वातावरण बनाकर यह सब किसान आंदोलन को बदनाम करने की साजिश नहीं? क्या यह दिल्ली दंगों, शाहीन बाग, सीएए विरोधी प्रदर्शनकारियों, जेएनयू दिल्ली विश्वविद्यालय प्रकरण की पुनरावृत्ति तो नहीं? सुरजेवाला ने केंद्र सरकार से फिर आग्रह किया कि वह तीनों कृषि कानूनों को निरस्त करे। (भाषा)
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