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Written By भाषा
Last Modified: ग्लास्गो , शुक्रवार, 25 जुलाई 2014 (22:58 IST)

बिंद्रा को निशानेबाजी में स्वर्ण, मलाइका को रजत

बिंद्रा को निशानेबाजी में स्वर्ण, मलाइका को रजत -
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ग्लास्गो। स्टार निशानेबाज अभिनव बिंद्रा ने अपनी ख्याति के अनुरूप प्रदर्शन करते हुए शुक्रवार को यहां स्वर्ण पदक जीता जबकि युवा मलाइका गोयल रजत पदक जीतने में सफल रहीं।

इस तरह से निशानेबाजों ने 20वें राष्ट्रमंडल खेलों में भारत के खाते में दो पदक जोड़े। ओलंपिक स्वर्ण पदक विजेता 31 वर्षीय बिंद्रा ने अपनी पसंदीदा 10 मीटर एयर रायफल में खेलों के फाइनल के रिकॉर्ड स्कोर 205.3 के साथ सोने का तमगा हासिल किया।

सोलह वर्षीय मलाइका गोयल ने भारत को निशानेबाजी में पहला पदक दिलाया। उन्होंने महिलाओं की 10 मीटर एयर पिस्टल में रजत पदक जीता लेकिन प्रबल दावेदार मानी जा रहीं हिना सिद्धू को सातवें स्थान से संतोष करना पड़ा। निशानेबाजी में दो पदक मिलने से भारत के कुल पदकों की संख्या नौ हो गई। उसने पहले दिन सात पदक जीते थे।

भारत के नाम पर अभी तीन स्वर्ण, चार रजत और दो कांस्य पदक हैं और वह इंग्लैंड (18 पदक), ऑस्ट्रेलिया (15) और स्काटलैंड (10) के बाद चौथे स्थान पर है।

बिंद्रा का यह राष्ट्रमंडल खेलों में पहला व्यक्तिगत स्वर्ण पदक है। उन्होंने मैनचेस्टर (2002), मेलबर्न (2006) और चार साल पहले दिल्ली में युगल में स्वर्ण पदक जीते थे। महिलाओं के वर्ग में मलाइका ने फाइनल में 197.1 का स्कोर बनाकर सीनियर वर्ग में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपना पहला पदक जीता।

प्रतियोगिता से पहले पदक की प्रबल दावेदार हिना सिद्धू क्वालीफिकेशन में पहले स्थान पर रहीं लेकिन फाइनल में आठ महिलाओं के बीच वे बाहर होने वाली दूसरी निशानेबाज थीं। भारतीय पुरुष हॉकी टीम ने पूल 'ए' के मैच में वेल्स की कमजोर टीम को 3-1 से हराया लेकिन इसके लिए उन्हें काफी पसीना बहाना पड़ा।

भारत का सामना कल स्काटलैंड से होगा जबकि वेल्स विश्व चैम्पियन और मौजूदा राष्ट्रमंडल चैम्पियन ऑस्ट्रेलिया से खेलेगा। भारतीय जुडोका पहले दिन के शानदार प्रदर्शन को आज जारी रखने में नाकाम रहे और केवल सुनिबाला हुईदरोम ही महिलाओं के 70 किग्रा भार वर्ग के कांस्य पदक के मुकाबले में जगह बना पाईं।

सुनिबाला को रेपाशेज में कड़ी चुनौती मिली लेकिन वे कनाडा की मोनिका बर्गेस को तीन मिनट 58 सेकंड तक चले मुकाबले में हराने में सफल रहीं। कांस्य पदक के लिए उनका मुकाबला स्काटलैंड की सैली कानवे से होगा। महिलाओं के 63 किग्रा भार वर्ग में हालांकि गरिमा चौधरी ने निराश किया। वे रेपाशेज दौर में कड़े संघर्ष के बाद हार गईं।

इससे पहले सुनिबाला ने क्वार्टर फाइनल ऑस्ट्रेलिया की कैथरीन अर्सकोट को चार मिनट तक चले मुकाबले में हराया हालांकि अंतिम 16 में उन्होंने बोत्सवाना की मेमोरी जिखाले को केवल 53 सेकंड में हराया था। लंदन ओलंपिक के लिए क्वालीफाई करने वालीं भारत की एकमात्र जुडोका गरिमा रेपाशेज में इंग्लैंड की केजे ईट्स ब्राउन से हार गईं।

गरिमा ने इससे पहले क्वार्टर फाइनल में स्काटलैंड की सराह क्लार्क और अंतिम 16 में कैमरून की बिबियेन फोपा को हराया था। भारतीय पुरुषों का प्रदर्शन भी निराशाजनक रहा। बलविंदर सिंह (73 किग्रा) और वी विकेंदर सिंह (81 किग्रा) दोनों राउंड 32 में हार गए। (भाषा)