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Last Updated :भोपाल/ नई दिल्ली , सोमवार, 6 जुलाई 2015 (20:29 IST)

व्यापमं घोटाला : महिला सब इंस्पेक्टर ने की खुदकुशी

व्यापमं घोटाला : महिला सब इंस्पेक्टर ने की खुदकुशी - vyapam scam
भोपाल/ नई दिल्ली। व्यापमं घोटाले को लेकर मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के लिए सोमवार को उस समय परेशानी और बढ़ गई जब राज्य बोर्ड द्वारा भर्ती की गई एक प्रशिक्षु महिला पुलिस उपनिरीक्षक एक तालाब में मृत पाई गई। इस पर कांग्रेस ने मुख्यमंत्री को तत्काल बर्र्खास्‍त किए जाने तथा निष्पक्ष जांच की मांग की है।

एक संबंधित घटनाक्रम में उच्चतम न्यायालय उस याचिका पर सुनवाई करने को सहमत हो गया जिसमें राज्य में प्रवेश एवं भर्ती घोटाले में कथित संलिप्तता के लिए मध्यप्रदेश के राज्यपाल रामनरेश यादव को हटाए जाने की मांग की गई है।
 
व्हिसलब्लोअर आशीष चतुर्वेदी (26) ने दावा किया कि उनके जीवन को गंभीर खतरा है और आरोप लगाया कि घोटाले में मुख्यमंत्री चौहान सीधे तौर पर संलिप्त हैं। मुख्यमंत्री ने इस आरोप को सिरे से खारिज कर दिया है।
 
पिछले दो दिन से हो रही मौतों की कड़ी में सोमवार को सुबह प्रशिक्षु महिला पुलिस उपनिरीक्षक अनामिका सिकरवार (25) का शव मध्यप्रदेश के सागर जिला मुख्यालय में पुलिस प्रशिक्षण अकादमी के नजदीक एक तालाब से मिला।
 
यह घटना व्यापमं घोटाले की कवरेज कर रहे पत्रकार अक्षय सिंह की झाबुआ में और फर्जी परीक्षार्थियों की जांच कर रहे जबलपुर मेडिकल कॉलेज के डीन अरुण शर्मा की दिल्ली में द्वारका स्थित एक होटल में हुई रहस्यमय मौतों के बाद हुई है।
 
सागर के पुलिस अधीक्षक गौतम सोलंकी ने कहा कि उन्हें संदेह है कि अनामिका की मौत आत्महत्या का मामला है। उनका चयन व्यापमं द्वारा आयोजित परीक्षा में उप निरीक्षक के रूप में हुआ था, लेकिन पुलिस ने कहा कि उनके चयन का व्यापमं घोटाले से कोई लेना-देना नहीं था और वे संदिग्ध लाभार्थियों में शामिल नहीं थीं।
 
मुख्यमंत्री ने तुरंत इस बात को खारिज किया कि घटना व्यापमं जांच से जुड़ी है। उन्होंने कहा कि यह दुखद एवं दुर्भाग्यूपर्ण घटना है। लेकिन पूरी जिम्मेदारी के साथ मैं कहता हूं कि दुर्भाग्यपूर्ण घटना का व्यापमं या इसकी जांच से कोई संबंध नहीं है। और इस तरह की सभी दुर्भाग्यूपर्ण घटनाओं को व्यापमं से जोड़ना उचित नहीं है। 
 
उच्चतम न्यायालय की निगरानी में सीबीआई जांच की मांग करने वाली कांग्रेस ने चौहान पर हमला तेज करते हुए उन्हें बर्खास्‍त करने की मांग की, जिससे निष्पक्ष जांच हो सके और कहा कि वह 45 मौतों की जिम्मेदारी से बच नहीं सकते, जिनका मुद्दे से कुछ संबंध है।
 
कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने नई दिल्ली में कहा कि शिवराज सिंह चौहान को बर्खास्‍त किया जाना चाहिए और व्यापमं घोटाले में निष्पक्ष जांच कराई जानी चाहिए। मध्यप्रदेश में सत्तारुढ़ भाजपा ने भोपाल में कांग्रेस पर आरोप लगाया कि वह मौतों पर राजनीति कर रही है और कहा कि शर्मा की मौत मामले से संबंधित नहीं है।
 
झाबुआ में केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने सीबीआई जांच की संभावना से यह कहकर इंकार किया कि विशेष जांच दल (एसआईटी) मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय की निगरानी में पहले ही जांच कर रहा है। 
 
सीबीआई जांच की मांग पर उन्होंने कहा कि हम उच्चतम न्यायालय या उच्च न्यायालय को निर्देश नहीं दे सकते। उन्होंने विपक्ष से इसका राजनीतिकरण नहीं करने की अपील करते हुए कहा कि विपक्ष गैर मुद्दे को मुद्दा बना रहा है। 
 
राज्य के स्वास्थ्य मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने भोपाल में कहा कि यह अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है कि कांग्रेस शवों पर राजनीति कर रही है। वे (कांग्रेस) मौतों को व्यापमं घोटाले से जोड़ने की कोशिश कर रहे हैं। राज्य सरकार दुख की घड़ी में शोक संतप्त परिवारों के साथ है। 
 
शिवराज सिंह चौहान सरकार पर प्रहार करते हुए कांग्रेस ने कहा कि चौहान महा घोटाले के सरगना हैं और मौत का सौदागर बन चुके हैं। मुख्यमंत्री की परेशानी बढ़ाते हुए एक अन्य व्हिसलब्लोआर आनंद राय ने भी अपने जीवन को खतरे की आशंका जताई और उच्चतम न्यायालय की निगरानी में जांच की मांग की।
 
कांग्रेस प्रवक्ता पीसी चाको ने कहा कि चौहान के परिवार के अलावा उनके करीबी लोगों पर गंभीर आरोप हैं। चाको ने कहा कि मुख्यमंत्री यदि मामले में खुद को पाक साफ महसूस करते हैं तो उन्हें सीबीआई जांच के लिए कहना चाहिए। (भाषा)