उतार-चढ़ाव के भँवर में फँसे निवेशक
कमल शर्मा दलाल स्ट्रीट के निवेशक इन दिनों एक जबरदस्त भँवर में फँसे हुए हैं कि वे सेंसेक्स के मौजूदा स्तर पर निवेश करें या नहीं। कुछ समय ठहरकर निवेश करें या बाजार से पूरी तरह दूर रहने में भलाई है अथवा अगले कुछ महीनों के अनुमान के आधार पर निवेश कर डालें। असल में होता यह है कि सही समय सही कंपनियों का चुनाव और उनमें किया गया निवेश लांग टर्म में ही बड़ा फायदा दिलाता है, लेकिन आम निवेशक छोटी-सी कमाई के चक्कर में बड़ी कमाई खो देता है। मेरे एक शेयर ब्रोकर मित्र पिछले दिनों बता रहे थे कि 20 साल पहले उन्होंने झंडु फार्मा के केवल 20 शेयर 12 हजार रुपए में लिए थे और इमामी द्वारा इसके अधिग्रहण से पहले उन्होंने तकरीबन 380 शेयर बेचकर कुल 84 लाख रुपए कमाए। झंडु फार्मा ने इन 20 सालों में जो बोनस और राइट शेयर दिए उससे यह शेयर संख्या बढ़ी और इतना तगड़ा मुनाफा हुआ जिसकी हर निवेशक कल्पना नहीं कर पाता। इस एक घटना का जिक्र इसलिए किया गया ताकि खुद निवेशक तय करें कि उन्हें पाँच-पच्चीस हजार कमाने हैं या समूची माली हालात पलट देने वाली राशि। समूची दुनिया में अर्थव्यवस्था के मोर्चे पर अब सुधार होता दिखाई दे रहा है। अमेरिकी और यूरोपीयन देशों के कॉरपोरेट सेक्टर से रिकवरी के समाचार आ रहे हैं। अमेरिका में भी जॉब से जुड़े आँकड़ें सकारात्मक आए हैं एवं उन अनुमानों को इन आँकड़ों ने गलत ठहरा दिया, जो अभी भी वहाँ हालात खराब होने का राग अलाप रहे थे। भारतीय बाजार में भी विदेशी संस्थागत निवेशकों ने अब तक 40 हजार करोड़ रुपए का निवेश किया है
कठिन समय में भारतीय कॉरपोरेट सेक्टर ने भी बेहतर नतीजे पेश किए हैं। जून के औद्योगिक उत्पादन के आँकड़े आने जा रहे हैं और ये आँकड़े सकारात्मक आए तो अचरज नहीं होना चाहिए। अमेरिका में भी जॉब से जुड़े आँकड़े सकारात्मक आए हैं एवं उन अनुमानों को इन आँकड़ों ने गलत ठहरा दिया, जो अभी भी वहाँ हालात खराब होने का राग अलाप रहे थे। भारतीय बाजार में भी विदेशी संस्थागत निवेशकों ने चालू कैलेंडर वर्ष में अब तक 40 हजार करोड़ रुपए का निवेश किया है। यह निवेश एकदम बॉटम पर है जो यह बताता है कि आने वाले दिन तेजी के हैं। लेकिन इस बीच कुछ स्थानीय सट्टेबाज जो सेंसेक्स के 17 हजार अंक को पार करने का अनुमान जता रहे थे, अचानक पलट गए और 25 फीसदी कम बारिश के साथ मानसून के विफल रहने की बात कहकर बाजार को तोड़ रहे हैं। आम निवेशक इन सट्टेबाजों की चाल को समझ नहीं पाया एवं बाजार के और ऊपर उठने के इस अनुमान में ज्यादा ही खेल खेल लिया। सट्टेबाज पहले निवेशकों में भरोसा पैदा करते हैं और फिर इसे तोड़ते हैं। सट्टेबाज मॉस साइकोलॉजी के खिलाफ चलते हैं, इसे याद रखिए, शेयर बाजार में काफी फायदा होगा। इंडिया ग्रोथ स्टोरी में हर निवेशक का भरोसा बना हुआ है। प्राइमरी मार्केट में यह तो केवल शुरुआत भर है जबकि अभी अनेक मुख्य कंपनियों के आईपीओ आने बाकी हैं। निवेशकों को सैकंडरी बाजार के अलावा प्राइमरी बाजार में भी निवेश करना चाहिए
अदानी पावर के बाद एनएचपीसी के आईपीओ को भी निवेशकों का जबरदस्त समर्थन मिला है जो यह बताता है कि इंडिया ग्रोथ स्टोरी में हर निवेशक का भरोसा बना हुआ है। प्राइमरी मार्केट में यह तो केवल शुरुआत भर है जबकि अभी अनेक मुख्य कंपनियों के आईपीओ आने बाकी हैं। निवेशकों को सेकंडरी बाजार के अलावा प्राइमरी बाजार में भी निवेश करना चाहिए। अगले महीने 7 सितंबर को ऑइल इंडिया का आईपीओ पूंजी बाजार में आएगा, जिसमें निवेश करना लंबी अवधि की दृष्टि से फायदेमंद होगा।10
अगस्त से शुरू हो रहे नए सप्ताह में बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) का सेंसेक्स 15555 के ऊपर बंद होने पर 15888 तक जाने की संभावना है। इसे सपोर्ट 14777 अंक पर मिलेगा, जबकि नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) के निफ्टी को 4311 पर सपोर्ट मिलेगा। यह 4611 आने पर 4711 जा सकती है। सूरत कमर्शियल कॉरपोरेशन, सूरत के इक्विटी विश्लेषक गोपाली मोदी का कहना है कि 10 अगस्त से शुरू हो रहे सप्ताह में 15100 का स्तर टूटने पर सेंसेक्स तेजी से घटकर 14647 से 14281 तक आ सकता है। इस गिरावट के दौरान मिलने वाले सपोर्ट 14735, 14523 और 14392 का स्तर दिखा सकते हैं। सप्ताह के दौरान 15100 का स्तर टूटने से पहले संभावना सुधार की है जो अधिकतम 15634 होगा। बीच-बीच में सेंसेक्स के रेसीसटेंस स्तर 15381, 15422 और 15503 रहेंगे।तकनीकी विश्लेषक हितेंद्र वासुदेव का कहना है कि शेयर बाजार को ब्रेकआउट होने के लिए एक और रैली चाहिए। सेंसेक्स ने अभी तक 16200 का मुख्य रेसीसटेंस स्तर पार नहीं किया है। सेंसेक्स में निवेशक 14700 का स्टॉप लॉस रखते हुए कारोबार करें। मौजूदा स्तर से बढ़कर 16196 अंक आने तक मुनाफा वसूली करें। 16200 के ऊपर ही इंडेक्स से जुड़े शेयरों में दोबारा लांग पोजीशन ली जा सकती है। किशोर ओस्तवाल का कहना है कि भारतीय शेयर बाजार का सेंसेक्स अगले छह महीने में 20 हजार अंक को छूने का माद्दा रखता है। शेयर बाजार में अभी भी कम निवेश हुआ है एवं अभी और निवेश होना बाकी है
सीएनआई रिसर्च लिमिटेड, मुंबई के प्रबंध निदेशक किशोर ओस्तवाल का कहना है कि भारतीय शेयर बाजार का सेंसेक्स अगले छह महीने में 20 हजार अंक को छूने का माद्दा रखता है। शेयर बाजार में अभी भी कम निवेश हुआ है एवं अभी और निवेश होना बाकी है। आज तक अगस्त सिरीज के फ्यूचर्स में ओपेन इंटरेस्ट 53 हजार करोड़ रुपए का है जिसमें से स्टॉक फ्यूचर्स केवल 23 हजार करोड़ रुपए का है। अभी भी 400-500 अंकों के करेक्शन की संभावना है जिसे रूटीन करेक्शन समझना चाहिए। बी ग्रुप के शेयर को अभी भी ऊपर आने के लिए संघर्ष करना पड़ रहा है। निवेशकों को वैल्यू स्टॉक में निवेश करने से पहले रिसर्च प्लेटफॉर्म का उपयोग करना चाहिए। अभी भी भारी डिस्काउंट पर अच्छी इंडस्ट्री और कंपनियों के शेयर मौजूद हैं।निवेशक इस सप्ताह बजाज ऑटो, इंडिया इन्फोलाइन, डीश टीवी, प्रीज्म सीमेंट, लक्ष्मी ओवरसीज, सिनेमैक्स इंडिया, सुप्रीम इंडस्ट्रीज, पटेल इंजीनियरिंग, फर्स्ट सोर्स साल्यूशंस, हिंदुस्तान ऑइल एक्सप्लोरेशन, डेवलपमेंट क्रेडिट बैंक, हेडलबर्ग सीमेंट, हिंद नेशनल ग्लास और मैक्मिलन इंडिया के शेयरों पर ध्यान दे सकते हैं।*यह लेखक की निजी राय है। किसी भी प्रकार की जोखिम की जवाबदारी वेबदुनिया की नहीं होगी।