बुधवार, 17 अप्रैल 2024
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Written By सीमान्त सुवीर

कोटला में फिर दहाड़ेंगे विराट कोहली...

कोटला में फिर दहाड़ेंगे विराट कोहली... - Virat Kohli
'' जैसा हो मौसम मुताबिक, उसी में दीवाना हूं,
मार्च में हूं बुलबुल तो जुलाई में परवाना हूं '' 
 
यह शेर भारतीय क्रिकेट के सबसे हॉट क्रिकेटर विराट कोहली पर ही सबसे ज्यादा  मुनासिब बैठता है। क्या लाजवाब क्रिकेटर हैं, दुनिया में सबसे बिरले क्रिकेटर...जिन्हें आज सभी फॉलो करने में लगे हुए हैं। विराट पर यह शेर इसलिए भी बनता है क्योंकि वे खुद को क्रिकेट के दूसरे फॉर्मेट में कितनी जल्दी डाल लेते हैं, यह सीखने वाली बात है। टेस्ट मैचों में लगातार दो जीत और इंदौर की तीसरी जीत (321 रनों की) तो रिकॉर्ड बना गई...लड़कियों की पहली पसंद बने स्टार बल्लेबाज विराट कोहली ने भी अपने बल्ले से 211 रनों की पारी खेलकर अपने फॉर्म को पाया... विराट के लिए इंदौर 'लकी' बन गया... इसके बाद उन्होंने वनडे में खुद को ऐसा ढाला, मानों पहले से ही वे खेलते चले आ रहे हैं...
वादियों में गूंजी शेर की दहाड़ : रनों के इस भूखे शेर की दहाड़ हिमाचल की खूबसूरत वादियों में एक बार फिर गूंजी और उनके बल्ले से निकले 85 रन, जिसकी मदद से भारत ने न्यूजीलैंड को 6 विकेट से रौंदकर पांच वनडे मैचों की सीरीज का विजयी आगाज किया। सबसे बड़ी बात तो ये रही कि विराट ने टेस्ट मैच की सफेद जर्सी को उतारकर टीम इंडिया की नीली जर्सी पहनी और महज पांच दिन बाद 85 रनों की पारी खेल डाली। क्रिकेट के किसी भी प्रारूप को बदलने और उसके मुताबिक ढालने में दुनिया के हर क्रिकेटर को वक्त लगता है लेकिन विराट पता नहीं कौनसी घुट्‍टी पीकर बड़े हुए, जिनके लिए क्रिकेट का कोई भी प्रारूप बच्चों का खेल हो गया है। 
 
आग उगलने वाले खिलाड़ी की दीवानी : इसी महीने अक्टूबर के दूसरे सप्ताह (8 से 11) इंदौर टेस्ट में जब इस क्रिकेटर को करीब से देखने का अवसर मिला, तब पता चला कि आखिर क्यों दुनिया इस आग उगलने वाले खिलाड़ी की दीवानी है। आंखों में शेर जैसी चमक, मैदान पर चीते जैसी चपलता और बल्लेबाजी करते हैं तो लगता है कि उनकी बाजुओं में लोहा भरा हुआ है...वाकई विराट में गजब का टैलेंट है। शायद आप वो बात भूल गए होंगे, इसलिए याद दिलाना जरूरी है, ताकि आप ये जान लें कि 'विराट' अपने नाम के अनुरूप बने हैं। 
विराट कोहली आदमी है या मशीन : इंदौर टेस्ट में विराट ने डेढ़ दिन से ज्यादा बल्लेबाजी करके 211 रन ठोंके, फिर लगभग पूरे दिन फील्डिंग की और जब सभी खिलाड़ी ड्रेसिंग रूम में पहुंच गए, तब वे जर्सी बदलकर प्रेक्टिस विकेट पर आ गए और साथ में थे बल्लेबाजी कोच संजय बांगर। संजय बांगर की गेंदों पर उन्होंने 15 मिनट तक बल्लेबाजी का अभ्यास किया। देखने वालों के मुंह से यही निकला कि यह आदमी है या मशीन..मशीन भी एक समय के बाद थक जाती है लेकिन विराट से थकान कोसों दूर है...
 
विराट ने पांच दिन में 'चोला' उतार फेंका : 11 अक्टूबर को इंदौर टेस्ट खत्म हो गया था और केवल 5 दिन बाद 16 अक्टूबर को विराट कोहली ने धर्मशाला वनडे में न्यूजीलैंड के खिलाफ 85 रनों की तेजतर्रार पारी खेल डाली। टेस्ट मैच का चोला उतार फेंकने में विराट को कोई दिक्कत नहीं हुई। 20 अक्टूबर को फिरोजशाह कोटला में भारत दूसरा वनडे मैच खेलने जा रहा है। विराट के लिए फिरोजशाह कोटला घरू मैदान है। कोटला पर भारत ने पांच वनडे मैच खेले हैं और 4 जीते हैं। एक मैच रद्द कर दिया गया था। विराट ने चार मैचों में 64.33 के औसत से 193 रन बनाए हैं, जिसमें एक शतक और एक अर्धशतक शामिल है। विराट ने इसी मैदान पर इंग्लैंड के खिलाफ 112 रनों की नाबाद पारी खेली है। 
 
विराट कोहली के बल्ले से छूटी रनों की फुलझड़ियां : विराट कोहली न्यूजीलैंड के इस दौरे पर मेहमान टीम के हर गेंदबाज की कमियों को अच्छी तरह से समझ चुके हैं। यही कारण है कि उनके बल्ले से रनों की फुलझड़ियां छूट रही हैं। जिस तरह से दिल्ली के इस दिलदार क्रिकेटर ने मोर्चा संभाला है, यकीनन वह भारतीय क्रिकेट को बहुत आगे ले जाएगा। विराट की खूबी रही है कि चाहे मसाला क्रिकेट हो या टेस्ट मैच या फिर वनडे मैच, उन्होंने इसमें खुद को ढालने का गुर जरूर सीख लिया है। यही नहीं, उनमें ख्याति पचाने की क्षमता का गुण भी आ चुका है...इसलिए यदि कोटला में एक बार फिर विराट की दहाड़ गूंजे तो इसमें कोई हैरत मत कीजिएगा।