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Written By अनिल जैन

नई दिल्ली सीट पर केजरीवाल की प्रतिष्ठा दांव पर

नई दिल्ली सीट पर केजरीवाल की प्रतिष्ठा दांव पर - Arvind Kejriwal, Delhi assembly elections
- विशेष प्रतिनिधि

दिल्ली विधानसभा चुनाव में सबसे हॉट और प्रतिष्ठा वाली सीट नई दिल्ली पर आम आदमी पार्टी के नेता अरविंद केजरीवाल की प्रतिष्ठा दांव पर है। इस सीट पर केजरीवाल समेत कुल 13 उम्मीदवार मैदान में हैं। भाजपा ने यहां केजरीवाल को चुनौती देने के लिए दिल्ली विश्वविद्यालय छात्रसंघ की पूर्व अध्यक्ष नुपूर शर्मा को मैदान उतारा है, जबकि कांग्रेस ने दिल्ली सरकार में लंबे समय तक मंत्री रही किरण वालिया को अपना उम्मीदवार बनाया है।



पिछले विधानसभा चुनाव में केजरीवाल ने इस सीट पर दिल्ली की तत्कालीन मुख्यमंत्री शीला दीक्षित को त्रिकोणीय मुकाबले में 23 हजार वोटों के भारी अंतर से पराजित किया था। इस विधानसभा क्षेत्र के करीब सवा लाख मतदाताओं में से करीब 70 फीसदी सरकारी अधिकारी व कर्मचारी ही हैं, जो उम्मीदवारों में अपनी पसंद-नापसंद को लेकर आमतौर पर चुप्पी साधे हुए ही रहते हैं।

राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, प्रधानमंत्री के अलावा केंद्रीय मंत्रियों, वरिष्ठ नेताओं, सांसदों और सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीशों के आवास भी इसी विधानसभा क्षेत्र में हैं। पूरा इलाका एनडीएमसी क्षेत्र में आता है, इसलिए यहां पर नगर निगम चुनाव नहीं होते। जातिगत समीकरण भी यहां काम नहीं करते हैं।

इस क्षेत्र से केजरीवाल के प्रचार का जिम्मा संभाल रहे गोपाल मोहन का कहना है कि इस चुनाव क्षेत्र में केजरीवाल की कोई जनसभा नहीं होगी, क्योंकि वे डोर-टू-डोर प्रचार कर चुके हैं। दरअसल, पूरी दिल्ली में अपनी पार्टी के प्रचार अभियान का जिम्मा संभालने के कारण केजरीवाल अपनी सीट पर समय तो नही दे पा रहे है लेकिन उनके सैंकड़ों कार्यकर्ता मतदाताओं के बीच पहुंच रहे हैं।

यहां लोकसभा का चुनाव लड़ चुके आम आदमी पार्टी के नेता आशीष खेतान भी केजरीवाल के समर्थन में खासतौर से सक्रिय हैं। उनका मानना है कि यहां केजरीवाल के लिए चुनौती न सिर्फ जीतने की है बल्कि पिछली जीत के अंतर को बरकरार रखने की भी है।

भाजपा की उम्मीदवार नूपुर शर्मा के समर्थन में यहां दिल्ली विश्वविद्यालय, विद्यार्थी परिषद और भाजयुमो के कार्यकर्ताओं की टीमें केंद्रीय कर्मचारियों की विभिन्न आवासीय कॉलोनियों में प्रचार मं  जुटी हुई हैं। नूपुर शर्मा का दावा है कि पिछली बार जीतने के बाद से अब तक केजरीवाल इस क्षेत्र से गायब हैं, लिहाजा यहां के मतदाताओं का उनसे मोहभंग हो चुका है और मोदी लहर के चलते यहां उन्हें खासा समर्थन मिल रहा है।

कांग्रेस उम्मीदवार किरण वालिया के लिए चुनाव के लिहाज से यह क्षेत्र नया है। इससे पहले वे दक्षिण दिल्ली में मालवीय नगर क्षेत्र से चुनाव लड़ती रही हैं। वैसे तो वे भी इस क्षेत्र में डोर टू डोर प्रचार कर रही हैं लेकिन उनका जोर चुनाव आयोग में शिकायतों के जरिए केजरीवाल को उलझाने पर ज्यादा  है। कुल मिलाकर यहां मुकाबला केजरीवाल और नुपूर शर्मा के बीच ही है।